आम जन मानस की शिकायतों/समस्याओं के त्वरित निस्तारण हेतु मुख्य विकास अधिकारी टिहरी गढ़वाल मनीष कुमार की अध्यक्षता में तहसील प्रतापनगर के खंड विकास कार्यालय सभागार कक्ष में तहसील दिवस सम्पन्न हुआ। इस मौके पर क्षेत्र की विभिन्न प्रकार की 33 समस्या/शिकायतें/अनुरोध पत्र दर्ज किए गए, जिनमें से अधिकांश का मौके पर ही निस्तारण किया गया तथा शेष के निस्तारण हेतु संबंधित विभागों को एक सप्ताह/पक्ष का समय देते हुए शीघ्र निस्तारित कर संबंधित पक्ष एवं कार्यालय को अवगत कराने के निर्देश दिए गए।
तहसील दिवस में ग्राम बनाली के दिलमोहन सिंह रावत द्वारा बनाली चोलंग पेयजल योजना के खस्ताहाल होने की शिकायत पर जल संस्थान को एक सप्ताह के भीतर समस्या का निस्तारण कर स्पष्ट आख्या उपलब्ध कराने के निर्देश दिये गये। ग्राम भेलुन्ता के बल्ली लाल द्वारा भूस्खलन से प्रभावित परिवारों का अवशेष भुगतान करने की मांग पर एसडीएम प्रतापनगर को चार दिन के भीतर कार्यवाही करने के निर्देश दिए गए। ग्राम हलेय के उम्मेद सिंह द्वारा कास्तकारों की भूमि सुरक्षा हेतु चेकडैम व सुरक्षा दीवार लगाने की मांग की गई, जिस पर सीडीओ ने कृषि अधिकारी व बीडीओ प्रतापनगर को नियमानुसार आवश्यक कार्यवाही करने के निर्देश दिये गए।
ग्राम बैसाड़ी के सुमेर सिंह रावत द्वारा ग्राम पंचायत बैसाड़ी में विकास कार्य कराये जाने की मांग पर वीडीओ को जन भावनाओं के आधार पर परीक्षण कर कार्यवाही करने के निर्देश दिये गये। ग्राम पंचायते दीनगांव के प्रधान नरेन्द्र सिंह कैन्तुरा एवं ग्रामवासियों की खेल मैदान बनाये जाने की मांग पर जिला युवा कल्याण अधिकारी को कार्यवाही करने के निर्देश दिये गए। प्रतापनगर क्षेत्र के विभिन्न ग्राम प्रधानों द्वारा लम्बगांव से प्रतापनगर बस सेवा शुरू करने की मांग की गयी, जिस पर एआरटीओ को जन सुविधाओं को ध्यान में रखते हुए कार्यवाही करने के निर्देश दिये। इसके अलावा क्षेत्र की विभिन्न सड़क, विद्युत, पेयजल आदि से संबंधित समस्याएं/शिकायतें तहसील दिवस में दर्ज की गयी, जिस पर संबंधित विभागों को तत्काल कार्यवाही करने के निर्देश दिये गये।
मुख्य विकास अधिकारी मनीष कुमार ने तहसील दिवस मे पंजीकृत शिकायतों की सुनवाई के दौरान अधिकारियों को निर्देशित किया कि अपने-अपने विभाग से संबंधित कार्यों की सही जानकारी प्रचारित प्रसारित करें, ताकि लोगों को सही जानकारी मिल सके और उन्हें इधर उधर भटकना न पड़े। कहा कि जो शिकायतें शासन स्तर पर लंबित हैं, उसके लिए शासन से पत्र व्यवहार किया जाए।