रूद्रप्रयागः जन सुविधाओं के और अधिक आसान बनाने के लिए कैबिनेट मंत्री डा धन सिंह रावत समय समय पर कुछ नया करते रहते हैं। उनके द्वारा दी गई नई व्यवस्थाओं में अब एक अस्पताल में बने पर्चे पर मरीज दूसरे अस्पतालों में उपचार ले सकेंगे। राजकीय अस्पतालों में यह व्यवस्था कर दी गई है। इससे मरीज दूसरे अस्पतालों में पर्चा बनाने की लाइन में लगने से बच जाएंगे और पर्चे पर उनका पैसा भी खर्च नहीं होगा।
प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री डा धन सिंह रावत रूद्रप्रयाग जनपद के भ्रमण पर हैं। यहां उन्होंनें स्वास्थ्य व्यवस्थाओं की समीक्षा बैठक ली। और अधिकारियों को जरूरी निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि सरकार का मुख्य उद्देश्य है कि आम जनमानस को बेहतर स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध कराना है। इस दिशा में सरकार निरंतर कार्य कर रही है।
चिकित्सकों की आवास व्यवस्था के लिए मंत्री 10 करोड़ रुपए देने को कहा और सीएमओ को शीघ्र ही प्रस्ताव भेजने के निर्देश दिए।
समीक्षा बैठक के दौरान स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि चिकित्सालयों में आने वाले मरीजों को कोई परेशानी एवं असुविधा न हो इसके लिए प्रदेश में शीघ्र ही सभी राजकीय चिकित्सालयों में एक ही पर्ची सिस्टम लागू की जाएगी।
चिकित्सालय से मरीजों को रैफर करने पर उन्होंने एतराज जताया। कहा कि आपातकालीन स्थिति में ही मरीजों को रैफर किया जाए। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य सुविधाओं को बेहतर करने के लिए धन की कोई कमी नहीं है। इसके लिए यह जरूरी है कि स्वास्थ्य व्यवस्थाओं के लिए उचित प्रबंधन जरूरी है। अगस्त्यमुनि चिकित्सालय को शीघ्र ही दो चिकित्सकों की तैनाती की जाएगी।
उन्होंने कहा कि चारधाम यात्रा में आने वाले श्रद्धालुओं को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराने की दिशा में कार्य किया जा रहा है तथा श्री केदारनाथ धाम में 50 बेड का चिकित्सालय शीघ्र ही तैयार होगा जिससे आने वाले श्रद्धालुओं एवं स्थानीय लोगों को लाभ प्राप्त होगा। उन्होंने केदारनाथ धाम पहुंच रहे श्रद्धालुओं को स्थानीय स्वास्थ्य विभाग द्वारा आवश्यकता के अनुसार उपलब्ध कराई जा रही स्वास्थ्य सुविधाओं जिनमें ओपीडी, इमरजेंसी, ऑक्सीजन व स्क्रीनिंग की भी सराहना की।
इस अवसर पर विधायक रुद्रप्रयाग श्री भरत सिंह चौधरी, सभासद सुरेंद्र सिंह रावत, मुख्य विकास अधिकारी जीएस खाती, मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. एचसीएस मार्ताेलिया, मुख्य चिकित्सा अधीक्षक डॉ. मनोज बडोनी, अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. विमल सिंह गुसांई, डॉ. संजय तिवारी, मुख्य शिक्षा अधिकारी प्रमेंद्र सिंह बिष्ट, उप जिलाधिकारी आशीष चंद्र घिल्डियाल, सहित संबंधित अधिकारी मौजूद रहे।